
Operation Sindoor: हाल ही में भारत और पाकिस्तान के बीच बढ़े तनाव के दौरान भारतीय सेना ने अद्वितीय साहस और वीरता का परिचय दिया. सीमा से लगे राज्यों में सेना ने कई शहरों को सुरक्षित रखा. पाकिस्तान की ओर से ड्रोन और मिसाइल जैसे हवाई हमलों को समय रहते ही नष्ट कर दिया गया, जिससे बड़े नुकसान को टाला जा सका.
भारतीय सेना की वायु रक्षा प्रणाली ने इस दौरान अहम भूमिका निभाई. सोमवार को सेना ने एक डेमो के जरिए बताया कि कैसे ‘आकाश मिसाइल सिस्टम’ और ‘L-70 एयर डिफेंस गन’ ने अमृतसर के गोल्डन टेंपल और पंजाब के अन्य शहरों को बचाया.
एयर डिफेंस सिस्टम ने निभाई अहम भूमिका
15 इंफेंट्री डिवीजन के जनरल ऑफिसर कमांडिंग (GOC) मेजर जनरल कार्तिक सी. शेषाद्रि ने बताया कि पाकिस्तान का मकसद न सिर्फ सैन्य ठिकानों को निशाना बनाना था, बल्कि धार्मिक स्थलों को भी टारगेट करना था. खुफिया सूचना के आधार पर सबसे बड़ा खतरा गोल्डन टेंपल को था.
उन्होंने कहा, “हमें पहले से अंदेशा था कि पाक सेना हमारे सैन्य ठिकानों के साथ-साथ आम नागरिकों और धार्मिक स्थलों को भी निशाना बना सकती है. इसलिए हमने स्वर्ण मंदिर की सुरक्षा के लिए आधुनिक वायु रक्षा हथियार तैनात कर दिए थे.”
#WATCH | Amritsar, Punjab: Indian Army shows a demo of how Indian Air Defence systems, including AKASH missile system, L-70 Air Defence Guns, saved the Golden Temple in Amritsar and cities of Punjab from Pakistani missile and drone attacks. pic.twitter.com/yulFvSFqKv
— ANI (@ANI) May 19, 2025
बता दें, 8 मई की सुबह अंधेरे में पाकिस्तान ने एक बड़ा हवाई हमला किया. इस हमले में ड्रोन और लंबी दूरी की मिसाइलों का इस्तेमाल किया गया. लेकिन भारतीय सेना पूरी तरह सतर्क थी. वायु रक्षा गनर्स ने सभी ड्रोन और मिसाइलों को हवा में ही मार गिराया और स्वर्ण मंदिर को पूरी तरह सुरक्षित रखा.
आतंकी ठिकानों पर भारत की सर्जिकल स्ट्राइक
इसके साथ ही, मेजर जनरल शेषाद्रि ने बताया कि पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद भारत ने ‘ऑपरेशन सिंदूर’ शुरू किया. इस अभियान में पाकिस्तान के अंदर मौजूद नौ आतंकी ठिकानों को निशाना बनाया गया.
उन्होंने कहा, “हमने केवल आतंकियों को टारगेट किया. लश्कर-ए-तैयबा का मुख्यालय मुरिदके और जैश-ए-मोहम्मद का मुख्यालय बहावलपुर जैसे ठिकानों पर बेहद सटीक हमले किए गए. हमने जानबूझकर पाकिस्तानी सेना या नागरिक ठिकानों को निशाना नहीं बनाया.”
इस पूरे संघर्ष के दौरान भारत की वायु रक्षा प्रणाली ने अपना दमखम दिखाया. कई ड्रोन, मिसाइलें और अन्य हवाई हथियार समय रहते नष्ट किए गए. इससे भारतीय सेना की एयर डिफेंस ताकत को दुनिया ने भी माना.
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-भारत एक्सप्रेस
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