Uric Acid: यूरिक एसिड की समस्या आजकल एक आम समस्या हो गई है. दरअसल यूरिक एसिड बढ़ने में हमारी खराब लाइफस्टाइल और डाइट कई हद तक जिम्मेदार है. आज के समय में बिजी लाइफ के कारण हमारी पूरी तरह डाइट खराबी हो चुकी है. समय की कमी के चलते जाने-अनजाने में हम ऐसी कई चीजें खा लेते हैं, जिससे यूरिक एसिड की समस्या बढ़ जाती है.
हेल्थ एक्सपर्ट्स का कहना है कि अगर ब्लड में यूरिक एसिड का स्तर कंट्रोल न किया जाए तो इसकी वजह से किडनी स्टोन, यूरिन में दिक्कत और जोड़ों में दर्द समेत कई हेल्थ प्रॉब्लम्स हो सकती हैं. डॉक्टर्स ये भी सुझाव देते हैं कि यूरिक एसिड के मरीजों को अपनी डाइट पर भी खास ध्यान देना चाहिए. यहां हम आपको उन चीजों के बारे में बताएंगे, जिन्हें खाने से बॉडी में यूरिक एसिड की समस्या कंट्रोल में आएगी.
अजवाइन
किचन में मौजद अजवाइन शरीर को कई लाभ पहुंचाने में मददगार है. अजवाइन में ओमेगा-6 फैटी एसिड और अन्य ड्यूरेटिक ऑयल पाए जाते हैं, यह शरीर से एक्स्ट्रा लिक्विड को बाहर करने के साथ यूरिक एसिड को भी कम करने में मददगार है.
अलसी के बीज
अगर आप यूरिक एसिड को कंट्रोल करना चाहते हैं तो सर्दियों में रोजाना अलसी के बीज खाना शुरू कर दें. इनमें अमीनो एसिड और फाइबर जैसे पोषक तत्व पाए जाते हैं, जो यूरिक एसिड को कंट्रोल करने में काफी हद तक प्रभावी हो सकता है.
रागी
रागी को मोटे अनाज की श्रेणी में रखा गया है. इसमें फाइबर, आयरन और एंटीऑक्सीडेंट्स जैसे पोषक तत्व होते हैं. ये सभी तत्व यूरिक एसिड को कम करने में काफी हद तक मददगार होते हैं. यूरिक एसिड के साथ-साथकोलेस्ट्रॉल और ब्लड शुगर में सुधार करने के लिए भी रागी बेहद फायदेमंद है.
काली गाजर
काली गाजर का इस्तेमाल आमतौर घरों में नहीं किया जाता है. लेकिन इसका स्वाद सामान्य गाजर की तरह होता है. हालांकि, ये यूरिक एसिड घटाने में काफी फायदेमंद साबित हो सकती है. यूरिक एसिड को कम करने के लिए नियमित तरीके से इसे खाना शुरू कर दें.
ग्रीन टी
ग्रीन टी को सबसे हेल्दी ड्रिंक में से एक माना जाता है. ग्रीन टी में पाए जाने वाले गुण शरीर को कई लाभ पहुंचाने में मदद कर सकते हैं. कई लोग फैट को कम करने के लिए ग्रीन टी का सेवन करते हैं. लेकिन आपको बता दें कि ग्रीन टी के सेवन से यूरिक एसिड को कंट्रोल करने में मदद मिल सकती है.
कैसे बढ़ता है यूरिक एसिड
- मोटापा
- डायबिटीज
- प्यूरिन वाले फूड्स खाने से
- शराब का अधिक सेवन करना
- थायराइड की समस्या
- हाई ब्लड प्रेशर की समस्या
- शरीर मे आयरन अधिक होना
- खून में ग्लूकोज की मात्रा अधिक होना
- दिल के रोग की दवाओं का सेवन करना