बिजनेस कंसल्टेंट सुहेल सेठ ने सोमवार को अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन द्वारा अपने बेटे हंटर बाइडेन को बिना शर्त माफ़ी देने की आलोचना की, इसे अमेरिकी न्याय प्रणाली का मज़ाक बताते हुए कहा कि इससे न्याय व्यवस्था की विश्वसनीयता पर सवाल उठता है. साथ ही उन्होंने अडानी मामले में अमेरिकी न्याय विभाग की कार्यप्रणाली पर भी निशाना साधा तथा इसे राजनीतिक हस्तक्षेप का परिणाम करार दिया.
एएनआई से बातचीत में सेठ ने कहा, “जो बाइडेन ने खुद कहा था कि अमेरिकी न्याय प्रणाली राजनीति से संक्रमित है तो अब कौन इस सिस्टम पर विश्वास करेगा?” उन्होंने यह भी बताया कि बाइडेन के बयान से स्पष्ट होता है कि अमेरिकी न्यायपालिका में राजनीति का गहरा प्रभाव है. “अगर राष्ट्रपति बाइडेन खुद इस व्यवस्था पर सवाल उठा रहे हैं, तो सामान्य नागरिकों को कैसे विश्वास हो सकता है?”
#WATCH | Kolkata, West Bengal: On US President Joe Biden pardons his son Hunter Biden, Businessman Suhel Seth says “Yesterday, Joe Biden’s unconditional pardon to his son, Hunter Biden, is a travesty of the American justice system…The Department of Justice is weaponized in the… pic.twitter.com/1zDj2zG13r
— ANI (@ANI) December 2, 2024
न्याय विभाग बना पूरी तरह से हथियार
सेठ ने अमेरिकी न्याय विभाग पर आरोप लगाते हुए कहा कि यह विभाग अब पूरी तरह से राजनीतिक प्रभाव में काम कर रहा है, विशेष रूप से डोनाल्ड ट्रंप के मामले में इसके यू-टर्न के बाद उन्होंने कहा, “अमेरिकी न्याय विभाग को पूरी तरह से हथियार बना दिया गया है. हमने देखा कि ट्रंप के मामले में क्या हुआ, और अब उस जज ने भी केस वापस ले लिया है. यह पूरी तरह से गड़बड़ है.”
अडानी समूह के मामले पर भी सेठ ने यह कहते हुए सवाल उठाए कि अमेरिकी अभियोजकों का हड़बड़ी में कार्यवाही करना भारत की हालिया आर्थिक सफलता के खिलाफ राजनीतिक उद्देश्य को दर्शाता है.
सुहेल सेठ ने कहा, “अडानी समूह भारत में काम कर रहा है, जहां के नियामक सिस्टम को मैं दुनिया का सबसे बेहतरीन मानता हूं. लेकिन अमेरिकी जांच यह बताती है कि यह एक राजनीतिक खेल है, न्याय का नहीं,”
साथ ही, सेठ ने यह भी तर्क किया कि यदि राष्ट्रपति बाइडेन को लगता है कि उनके बेटे के खिलाफ किया गया व्यवहार अनुचित था, तो फिर वह अन्य भारतीय कंपनियों और उनके खिलाफ अमेरिकी न्याय व्यवस्था के फैसलों के बारे में कैसे न्यायसंगत हो सकते हैं? “अगर यह उनके बेटे के लिए अनुचित है, तो यह किसी भी भारतीय कंपनी के लिए कैसे उचित हो सकता है?”
उन्होंने अमेरिकी न्याय प्रणाली की विडंबना पर भी जोर दिया और कहा, “अमेरिकियों को समझना चाहिए कि वे एक ‘ऐसे गणराज्य’ में जी रहे हैं, जिसका साम्राज्य टूट रहा है.”
अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन ने रविवार को अपने बेटे हंटर बाइडन के लिए माफी पर हस्ताक्षर किए थे, जिन्हें बंदूक अपराधों और कर उल्लंघनों के आरोपों में दोषी ठहराया गया था. इस माफी का मतलब यह है कि हंटर बाइडन को इन आरोपों के लिए सजा नहीं मिलेगी और उनके जेल जाने की संभावना समाप्त हो गई है. बाइडेन ने अपने बेटे के खिलाफ आरोपों पर यह तर्क दिया कि इसी तरह के मामलों में अन्य लोगों को आमतौर पर गैर-आपराधिक समाधान मिलते हैं.
बाइडेन ने यह भी स्पष्ट किया कि वह न्याय विभाग के निर्णयों में हस्तक्षेप नहीं करेंगे, लेकिन उनका मानना है कि उनके बेटे पर “चुनिंदा और अनुचित तरीके से मुकदमा चलाया गया.”
-भारत एक्सप्रेस
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