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आरबीआई द्वारा जारी साप्ताहिक सांख्यिकी डेटा से जानकारी मिलती है कि यह वृद्धि मुख्य रूप से फॉरेन करेंसी एसेट्स (एफसीए) में बढ़ोतरी के कारण दर्ज हुई, जो 2.06 अरब डॉलर बढ़कर 568.85 अरब डॉलर हो गया है.

मॉर्गन स्टेनली का एक आउटलुक भारत के बाजार में सकारात्मक दृष्टिकोण और संभावित विकास की उम्मीदों को दर्शाता है. यहां दिखाए गए आंकड़े और अनुमानों के आधार पर, भारत के बाजार में निवेशकों के लिए बहुत महत्वपूर्ण अवसर हो सकते हैं.

केंद्रीय वाणिज्य एवं उद्योग मंत्री पीयूष गोयल ने संसद में पूछे गए एक प्रश्न के उत्तर में बताया कि विश्व वस्तु निर्यात में भारत की हिस्सेदारी 1.66 प्रतिशत से बढ़कर 1.81 प्रतिशत हो गई है और देश 20वें स्थान से 17वें स्थान पर पहुंच गया है. 

भारत में कैंसर के मामले तेजी से बढ़ रहे हैं. लैंसेट की एक हालिया रिपोर्ट के अनुसार, 2019 में भारत में करीब 12 लाख नए कैंसर मामले और 9.3 लाख मौतें दर्ज की गईं. एशिया में कैंसर के मामलों में भारत का दूसरा स्थान है.

मार्क मोबियस का मानना है कि भारत अगले कुछ वर्षों में उच्च ग्रोथ रेट और मजबूत प्रदर्शन करेगा, जबकि China में विकास में चुनौतियां बनी रहेंगी. उनका विश्वास है कि भारत आने वाले समय में निवेशकों के लिए एक आकर्षक बाजार बना रहेगा.

भारत की स्थानीय स्वच्छ ऊर्जा क्षमता बढ़ाने और चीन पर निर्भरता कम करने की कोशिशें इस बदलाव के प्रमुख कारण हैं. इसके अलावा, भारत ग्रीन टेक्नोलॉजी का निर्यातक बनने की दिशा में कदम बढ़ा रहा है.

विदेशी संस्थागत निवेशकों (FII) ने अपनी रणनीति में स्पष्ट बदलाव करते हुए खरीदार का रुख अपनाया है. बाजार पर नजर रखने वालों ने शनिवार को कहा कि भारतीय अर्थव्यवस्था में भू-राजनीतिक परिस्थितियों के बावजूद मजबूती बनी हुई है.

भारत का पूर्वोत्तर क्षेत्र प्रगति की राह पर है. पिछले 10 वर्षों में पूर्वोत्तर में बजट आवंटन खर्च को लेकर वृद्धि दर्ज हुई है, जो कि 2014 में 36,108 करोड़ रुपये से बढ़कर वित्त वर्ष 2023-24 में 94,680 करोड़ रुपये हो गया है.

वैश्विक रियल एस्टेट कंसल्टेंसी फर्म JLL ने कहा, पूंजी मूल्यों में उछाल और अब तक के उच्चतम स्तर पर होने के साथ, 2024 के पहले 9 महीनों में शीर्ष सात शहरों में करीब 3.8 लाख करोड़ रुपये के घर पहले ही बिक चुके हैं.

वित्तीय सेवाओं के शेयरों में 9,597 करोड़ रुपये की खरीदारी हुई, जबकि आईटी शेयरों में 2,429 करोड़ रुपये की खरीदारी हुई. इसके विपरीत तेल और गैस शेयरों में 6,132 करोड़ रुपये की बिक्री हुई.