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Bareilly News Today: दिवाली के मौके पर बरेली के भमोरा के गांव आलमपुर जाफराबाद में कोहराम मचा हुआ है. यहां के एक किसान संतोष शर्मा (48) की मौत हो गई, जिसकी हत्या का आरोप पुलिस पर लगा है. बताया जा रहा है कि पुलिस रात के समय जुआरियों पर दबिश देने गई थी, जहां संतोष पकड़ा गया था. पुलिस ने अन्य जुआरियों के नाम जानने के लिए संतोष को बुरी तरह पीटा, बाद में उसकी जान चली गई.
घटना के बाद मृतक के घरवालों ने आरोपी पुलिसकर्मियों के खिलाफ सजा की मांग की है. एसएसपी दफ्तर पहुंचे कृष्ण कुमार ने मीडिया से बातचीत में कहा- ”बुधवार रात करीब साढ़े 9 बजे मेरे भाई संतोष शर्मा खेत से घर लौट रहे थे. इसी दौरान चौकी पर खड़ी रहने वाली एंबुलेंस के ड्राइवर विजय के साथ सरदार नगर चौकी की पुलिस गांव में पहुंची. तीन लोग बिना वर्दी टीम के साथ थे. पुलिस ने वहीं से संतोष को पुलिस ने पकड़ लिया और फिर जुआरियों के नाम पूछने लगे. उन्होंने संतोष को बुरी तरह पीटा. जिससे संतोष की जान चली गई.” आरोप है कि पुलिसकर्मियों और उनके साथ आए तीन अन्य लोगों ने संतोष को लात-घूंसों व राइफल की बट से पीटा था.
मृतक के भाई कृष्ण कुमार ने आगे बताया कि भाई की चीख-पुकार सुनने के बाद वह मौके पर पहुंचे तो पुलिसवाले भाग गए और आनन-फानन में रात में ही संतोष को लेकर रामपुर गार्डन के निजी अस्पताल पहुंचे, जहां उनकी शुक्रवार को मौत हो गई. इसके बाद अस्पताल के बाहर तैनात पुलिसकर्मियों से ग्रामीणों में विवाद हो गया. तो वहीं भाई की मौत के बाद कृष्ण कुमार ने एसएसपी घुले सुशील चंद्रभान से आरोपियों के खिलाफ हत्या की रिपोर्ट दर्ज करने और कार्रवाई की मांग की है.
पूरी घटना को लेकर एसपी देहात मुकेश मिश्रा ने मामले में रिपोर्ट दर्ज कर ली है और बताया है कि, जुआ होने की सूचना पर पुलिस आलमपुर गई थी, जिससे जुआरियों में भगदड़ मच गई. इसी दौरान संतोष भी मौके पर मौजूद थे. वह भगदड़ में चोटिल हो गए. वहीं एसपी ने बताया कि, पुलिसकर्मी जो जुआ पकड़ने गए थे, वे अधिकारियों को बिना सूचना दिए गए थे, इसलिए प्राथमिक तौर पर उन्हें दोषी मानकर कार्रवाई की गई है.
घटना को लेकर एसएसपी ने सरदार नगर चौकी के कार्यवाहक प्रभारी टिंकू कुमार, हेड कांस्टेबल पुष्पेंद्र राणा, मनोज कुमार, कांस्टेबल अंकित कुमार, दीपक कुमार, सत्यजीत सिंह के साथ ही कांस्टेबल मोहित कुमार को निलंबित कर दिया है. तो वहीं ग्रामीणों ने पुलिस पर जुआं पकड़ कर ऊपरी कमाई करने का आरोप लगाया है और बताया है कि, कई महीनों से पुलिया पर जुआ का अड्डा चल रहा था. दीवाली से पहले भी पुलिस ने इसीलिए छापेमारी की थी, कि उनकी मुठ्ठी गरम हो जाएगी लेकिन अब तो उन पर भी कार्रवाई हो गई है. इस घटना को लेकर ग्रामीणों में आक्रोश है और उनका कहना है कि संतोष की कोई गलती भी नहीं थी और पुलिस ने उसे मौत के घाट उतार दिया.
-भारत एक्सप्रेस
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