Bharat Express

रजनीश कपूर, वरिष्ठ पत्रकार




भारत एक्सप्रेस


नेताओं की असभ्य और अभद्र भाषा लोकतंत्र के मूल्यों को ठेस पहुंचाती है. जनता को ऐसे नेताओं का बहिष्कार कर कड़ा संदेश देना चाहिए.

विमान हादसों से सबक लेने की ज़रूरत है, क्योंकि सुरक्षा में लापरवाही और नियमों की अनदेखी से यात्रियों की जान को बड़ा खतरा बना रहता है.

चुनाव चाहे किसी राज्य की सरकार का हो या केंद्र की सरकार का, हर राजनैतिक दल मतदाताओं को लुभाने की मंशा से ऐसे कई वादे करते हैं जो वास्तव में सच नहीं किए जाते. यदि जनता को चुनावों में किए गए वादों और उन्हें पूरा किए जाने के अंतर की देखा जाए तो यह अंतर काफी बड़ी संख्या में पाया जाएगा.

संसद का शीतकालीन सत्र पहले दिन से हंगामेदार बना हुआ है. विपक्ष ने सरकार को अडानी मुद्दे पर घेर रखा है. विपक्ष की माँग है कि सरकार अडानी मुद्दे पर बयान दे कर अपना रुख़ साफ़ करे.

हमारे देश में न्यायपालिका पर बढ़ते काम के बोझ का मुख्य कारण सरकारी तंत्र की विफलता है। जब सरकारी संस्थाएं अपनी ज़िम्मेदारी नहीं निभातीं, तो नागरिकों को न्याय के लिए अदालत का रुख़ करना पड़ता है।

Bharat Express Analysis: बीते कुछ सप्ताह से दिल्ली एनसीआर और उत्तर भारत को प्रदूषण के बादल इस कद्र घेर रखा है कि आम जीवन अस्त-व्यस्त हो चुका है.

Accidents on Highways: सड़क नियम और क़ानून को सख़्ती से लागू करने की ज़िम्मेदारी केवल ट्रैफ़िक पुलिस की नहीं होनी चाहिए. इनको लागू करने के लिए समय-समय पर जागरूकता अभियान भी चलाए जाने चाहिए.

Air Pollution: हर वर्ष नवम्बर के महीने में दिल्ली सरकार अपने आदेश के तहत बिना वैध प्रदूषण प्रमाण पत्र के चलने वाले वाहनों पर 10,000 का मोटा जुर्माना लगाने के आदेश जारी कर देती है.

2024 के लोकसभा चुनावों के बाद होने वाले कई विधान सभा के चुनावों में केंद्रीय चुनाव आयोग की भूमिका पर कई सवाल उठे हैं. परंतु चुनाव आयोग अपने फ़ैसलों को बदलना तो दूर, अपनी प्रतिक्रिया भी नहीं दी.

Aisa Desh Hai Mera: आज हम जिस विषय को इस कॉलम में उठाएँगे वह हमारे देश की गंगा - जमुनी तहज़ीब की विशेषता पर आधारित है.