आरोपी ASI गोपाल दास (फोटो ट्विटर)
Odisha health minister Death: ओडिशा में बीते दिन (रविवार) को दिन-दहाड़े स्वास्थ्य मंत्री को गोली मार दी गई. जिसके बाद मंत्री नब किशोर दास (60 साल) की अस्पताल में मौत हो गई. इस घटना को सुरक्षा ड्यूटी में तैनात ASI गोपाल दास ने अंजाम दिया है. जिसके बाद पुलिस ने आरोपी को हिरासत में ले लिया और उससे पूछताछ की जा रही है.
वहीं इस घटना ने कई सवाल सुरक्षा व्यवस्था पर खड़े कर दिए हैं कि आखिर एक राज्य के मंत्री को खुलेआम गोली कैसे मार दी गई और इस में हैरानी की बात यह भी है कि गोली मारने वाला खुद पुलिसकर्मी था. अब इसमें जो बड़ी बातें निकलकर सामने आ रही हैं, वो बेहद चौंकाने वाली हैं.
बाइपोलर डिसऑर्डर का शिकार था आरोपी ASI
दरअसल, ओडिशा के स्वास्थ्य मंत्री नब किशोर दास पर गोली चलाने वाला आरोपी (ASI) आठ साल से बाइपोलर डिसऑर्डर (Bipolar Disorder) का शिकार था. जानकारी के मुताबिक, वो जिस डॉक्टर से लगातार इलाज करवा रहा था, उसके पास एक साल से नहीं गया था. इसके अलावा वह अपनी पत्नी और बच्चों से भी पांच महीने से नहीं मिला है. फिलहाल, इस मामले की जांच CID जांच कर रही है.
ASI की पत्नी ने दी अहम जानकारी
आरोपी ASI की पत्नी जयंती दास ने बताया कि,”मुझे इस घटना के बारे में न्यूज के माध्यम से पता चला. सुबह से मेरी गोपाल से बात भी नहीं हुई. वो आखिरी बार पांच महीने पहले घर आए थे. लेकिन उनकी सुबह वीडियो कॉल पर बेटी से बात हुई थी और यह उनकी आखिरी कॉल थी”.
जयंती दास ने आगे बताया कि उन्हें कुछ मानसिक परेशानी थी, जिसका वो पिछले 7-8 साल से इलाज करवा रहे थे. दवा लेने के बाद वो नॉर्मल व्यवहार करते थे. पत्नी जयंती का कहना था कि,”चूंकि पति मुझसे करीब 400 किमी दूर रहते हैं. मैं यह नहीं कह सकती कि वह नियमित रूप से दवा ले रहे थे या नहीं”.
ASI बनने के बाद मिली लाइसेंसी पिस्तौल
आरोपी गोपाल दास ने पुलिस विभाग में अपना करियर शुरू किया था. 12 साल पहले गोपाल का झारसुगुड़ा जिले में ट्रांसफर किया गया. इस संबंध में झारसुगड़ा एसडीपीओ (SDPO) गुप्तेश्वर भोई ने कहा कि ब्रजराजनगर क्षेत्र के गांधी चौक में पुलिस चौकी का प्रभारी बनाए जाने के बाद एएसआई गोपाल को लाइसेंसी पिस्तौल जारी की गई थी.
– भारत एक्सप्रेस