प्रतीकात्मक तस्वीर
E-pharmacy: सरकार ऑनलाइन दवाओं की बिक्री पर अब रोक लगाने की तैयारी कर रही है. अगर आप दवाइयों को ऑनलाइन खरीदते या बचते हैं तो सतर्क हो जाइए, क्योंकि सरकार इन दवाओं की दुकानों पर प्रतिबंध लगाने वाली है. इसके लिए एक कानून बनाने की तैयारी की जा रही है. जिसके बाद देश की ऑनलाइन संचालित सभी दुकानों पर ताला लग जाएगा. सरकार ने इसके पीछे की वजह को भी बताया है.
दरअसल सरकार का कहना है कि ऑनलाइन दवा मंगाने वाले युवकों का डाटा स्टोर किया जा रहा है और इसका दुर्पयोग भी हो सकता है. सरकार अभी तक 20 से ज्यादा ई-फार्मेसी कंपनियों को नोटिस जारी कर चुकी है.
‘दवा बेचने वाली कंपनियां रोगी का डाटा स्टोर करती हैं’
ऑनलाइन दवा की बिक्री पर सरकार का मानना है कि दवा बेचने वाली कंपनियां मरीज का डाटा स्टोर करती हैं. इसलिए सरकार ने पिछले साल 20 से ज्यादा ई-फार्मेसी कंपनियों को नोटिस भेजा था. सरकार द न्यू ड्रग्स मेडिकल डिवाइसेज एंड कॉस्मेटिक्स बिल (New Drugs Devices and cosmatic Bill) को लाने की तैयारी में है. साथ ही पुराने बिल को बदलने की योजना बनाई जा रही है. हालांकि, अभी सरकार की ओर से कोई अधिकारिक बयान जारी नहीं किया गया है. लेकिन बिल को लेकर चर्चा जरूर चल रही है.
नया बिल लाने पर हो रही है चर्चा
जानकारी के मुताबिक, ई-फार्मेसी को नियंत्रण में लाने के लिए नए कानून पर चर्चा चल रही है. वहीं ज्यादातर मंत्रियों ने इस पर अपना मत रखते हुए कहा है कि ई-फॅार्मेसी से सबसे ज्यादा खतरा निजी जानकारी से है. जिसका दुर्पयोग भी हो सकता है. इसलिए डिजिटली चलने वाली दवाओं को बंद किया ही जाना चाहिए. फिलहाल ऑनलाइन दवा बिक्री करने वाली कंपनियों के खिलाफ विधेयक कई मंत्रायलयों को सौंपा गया है. जिससे जल्द से जल्द नया कानून बनाया जा सके.