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UP: शहरी निकाय चुनाव को लेकर बीजेपी ने शुरू की तैयारियां, लखनऊ में बुलाई बड़ी बैठक

UP Nikay Chunav 2023: बीजेपी ने शहरी निकाय चुनाव की तैयारियों को लेकर लखनऊ में आज बड़ी बैठक बुलाई. इस बैठक में जीत को लेकर रणनीतियां बनाई जाएंगी.

UPCM

सीएम योगी आदित्यनाथ (फाइल फोटो)

UP Nikay Chunav 2023: उत्तर प्रदेश में निकाय चुनाव कराने का रास्ता अब साफ हो गया है. सुप्रीम कोर्ट ने राज्य निर्वाचन आयोग को ओबीसी कोटे (OBC Reservation) के साथ दो दिन के अंदर इस संबंध में अधिसूचना जारी करने की अनुमति दे दी है. इसी सिलसिले में बीजेपी और समाजवादी पार्टी ने अपनी अपनी तैयारियां शुरू कर दी है. बीजेपी ने आज इसको लेकर लखनऊ में बड़ी बैठक बुलाई है. इस बैठक में निकाय चुनाव में जीत को लेकर रणनीतियां बनाई जाएंगी, बीजेपी के अपने नए पदाधिकारी भी बनाए गए हैं. उनका इस बैठक में परिचय कराया जाएगा.

वहीं इसको लेकर बीजेपी नेता जयवीर सिंह ने कहा कि “सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव तो हर चीज में नुक्ताचीनी करते हैं. होनी भी चाहिए, चुनाव नजदीक हैं इसलिए अपने हाथ-पांव मार रहे हैं लेकिन देश प्रदेश की जनता सारी परिस्थितियां जान रही है.”

सीएम योगी ने किया कोर्ट के आदेश का स्वागत

प्रदेश में शहरी निकाय चुनाव कराने का रास्ते हो जाने पर सीएम योगी आदित्यनाथ (CM Yogi Adityanath) ने सुप्रीम कोर्ट ने फैसले का स्वागत करते हुए ट्वीट किया. उन्होंने लिखा-  ”माननीय उच्चतम न्यायालय द्वारा ओबीसी आयोग की रिपोर्ट स्वीकार कर ओबीसी आरक्षण के साथ नगरीय निकाय चुनाव कराने का आदेश स्वागत योग्य है.” उन्होंने आगे कहा- ”विधि सम्मत तरीके से आरक्षण के नियमों का पालन करते हुए उत्तर प्रदेश सरकार समयबद्ध ढंग से नगरीय निकाय चुनाव कराने हेतु प्रतिबद्ध है.”

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ओबीसी आरक्षण को लेकर क्या था पूरा मामला ?

पिछले साल के आखिर में इलाहाबाद हाईकोर्ट (Allahabad High Court) की लखनऊ बेंच ने राज्य सरकार की अधिसूचना के मसौदे को खारिज कर बिना ओबीसी आरक्षण दिए ही स्थानीय निकाय चुनाव कराने का आदेश दिया था, जिसके बाद सियासी बवाल मच गया था.  हाईकोर्ट (High Court) का आदेश आने के बाद यूपी सरकार ने कहा था कि ओबीसी को आरक्षण दिए बगैर शहरी स्थानीय निकाय चुनाव नहीं होंगे और राज्य सरकार ओबीसी आरक्षण के लिए एक आयोग गठित करेगी. जिसके बाद यूपी पिछड़ा वर्ग आयोग का गठन किया गया.

जिसके बाद सुप्रीम कोर्ट ने 4 जनवरी को, ओबीसी के लिए बिना किसी आरक्षण के शहरी स्थानीय निकाय चुनाव कराने के इलाहाबाद उच्च न्यायालय () के आदेश पर रोक लगा दी थी. 9 मार्च को उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा शहरी स्थानीय निकाय चुनाव में ओबीसी आरक्षण के लिए गठित पिछड़ा वर्ग आयोग ने अपनी रिपोर्ट मुख्यमंत्री सीएम योगी को सौंप दी थी. सोमवार को सुप्रीम कोर्ट ने अपना फैसला सुनाते हुए ओबीसी आरक्षण के साथ ही चुनाव कराने का आदेश दिया है.

– भारत एक्सप्रेस

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