सीएम केजरीवाल और उपराज्यपाल वीके सक्सेना
Delhi Politics: राजधानी दिल्ली में आबकारी नीति घोटाले में फंसने के बाद आप सरकार (AAP government) की मुश्किलें अभी और बढ़ सकती है. कथित शराब घोटाले के बाद अब दिल्ली में एक और घोटाले की खबरें सामने आ रही हैं. इस बार शिक्षकों की नियुक्तियों से जुड़ा मामला सामने आया है. इन नियुक्तियों में कई तरह की गड़बड़ियां सामने आई हैं. वहीं इस पूरे मामले की सख्ती से जांच शुरू हो सकती है. बता दें कि कुछ समय पहले दिल्ली के सरकारी स्कूलों में अनुपस्थित गेस्ट टीचरों के वेतन के भुगतान में हो रही गड़बड़ियों को लेकर उप राज्यपाल वीके सक्सेना (Vinai Kumar Saxena) जांच के आदेश दिए थे.
दिल्ली के शिक्षा अधिकारियों ने इस मामले की रिपोर्ट उप राज्यपाल को सौंपी है. इस रिपोर्ट में उन गेस्ट टीचरों की लिस्ट है, जो अधिकांश समय से स्कूल से लापता रहते हैं. साथ ही गलत जाति प्रमाण पत्र के जरिए नौकरी पर लगे हुए हैं.
क्या है पूरा मामला ?
दरअसल पिछले साल सितंबर के महीने में उप राज्यपाल ने शिक्षा निदेशालय को सरकारी स्कूलों में कार्यरत गेस्ट टीचरों की नियुक्ति और वेतन के मामले को लेकर जांच करने के आदेश दिए थे, इसके साथ ही 30 दिनों के अंदर रिपोर्ट देने के लिए कहा गया था. लेकिन अधिकारियों के तरफ से रिपोर्ट पेश करने में काफी देरी की गई. जानकारी के मुताबिक, आज भी पूर्वोत्तर जिले के जोन 6 के अधिकारी की ओर से अभी तक रिपोर्ट नहीं दी गई है.
कई अलग-अलग मामलों में पायी गई गड़बड़ी
दिल्ली के पश्चिम जिले में गेस्ट टीचरों को दिए जाने वेतन में गड़बड़ियों के 16 मामलों का खुलासा हुआ है. कुछ ऐसी ही मामले हैं, जिनमें शिक्षकों को नियुक्ति पत्र नहीं दिया गया. वहीं दक्षिण जिले में भी 24 मामले ऐसे सामने आए हैं, जहां गेस्ट टीचरों को नौकरी से जुड़ा कोई नियुक्ति पत्र (appointment letter) नहीं दिया गया था. इसके अलावा नॉर्थ वेस्ट जिले में शिक्षकों के वेतन में गड़बड़ी के मामले सामने आए हैं. यहां तक की कुछ शिक्षकों के पास वैध ओबीसी (OBC) प्रमाण पत्र नहीं है, लेकिन वह भी अन्य पिछड़ा वर्ग श्रेणी के तहत काम कर रहे हैं.
आबकारी नीति में मामले में फंसने के बाद आप सरकार पर शिक्षक नियुक्तियों को लेकर घोटाले का आरोपा लगा है. उप राज्यपाल की तरफ से जल्द इस मामले में जांच के आदेश दिए जा सकते हैं.