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Supreme Court के आदेश पर मणिपुर हिंसा की जांच की निगरानी करेगा यह अधिकारी, CBI और SIT के कामकाज पर रखेगा नजर

Manipur Violence: सुप्रीम कोर्ट ने मणिपुर हिंसा में प्रभावित लोगों को राहत और पुनर्वास कार्यों की निगरानी और मुआवजे के देखरेख के लिए 3 अलग-अलग हाई कोर्ट के जजों की कमिटी बनाने की घोषणा की है. इस कमिटी में तीनों ही महिला जज होंगी.

Manipur Violence

मणिपुर हिंसा पर SC ने बनाई 3 हाईकोर्ट के जजों की कमिटी

Supreme Court on Manipur Violence: सुप्रीम कोर्ट में आज सोमवार को मणिपुर मामले को लेकर सुनवाई हुई. सुनवाई के दौरान शीर्ष अदालत ने जांच की निगरानी का ज़िम्मा महाराष्ट्र के पूर्व डीजीपी दत्तात्रेय पटसालगिकर (Dattatray Padsalgikar) को सौंपा है. इसके अलावा सुप्रीम कोर्ट ने मणिपुर हिंसा में प्रभावित लोगों को राहत और पुनर्वास कार्यों की निगरानी और मुआवजे के देखरेख के लिए 3 अलग-अलग हाई कोर्ट के जजों की कमिटी बनाने की घोषणा की है. इस कमिटी में तीनों ही महिला जज होंगी. वहीं हिंसा की जांच की निगरानी कर रहे पटसालगिकर CBI के अलावा राज्य सरकार की तरफ से बनाई गई 42 SIT के कामकाज पर भी नजर रखेंगे.

चीफ जस्टिस डी.वाई चंद्रचूड़ की बैंच ने सुनवाई के दौरान आदेश देते हुए कहा कि मणिपुर से बाहर के पुलिस अधिकारियों को भी शामिल किया जाए है. कोर्ट ने कहा है कि हर SIT में दूसरे राज्य का एक अधिकारी होगा.

हर स्थिति की निगरानी पर करेंगे फैसला

चंद्रचूड़ की बेंच ने कहा कि कोर्ट की कोशिश राज्य में कानून के शासन में विश्वास की भावना बहाल करना है. कोर्ट ने वहां हर स्थिति की निगरानी करने का भी फैसला किया है. सुनवाई के दौरान कोर्ट ने यह भी कहा कि तीन सदस्यीय समिति उसे सीधे रिपोर्ट सौंपेगी. कोर्ट ने बताया कि 3 महिला सदस्यों वाली कमिटी की अध्यक्ष जम्मू-कश्मीर हाई कोर्ट की पूर्व मुख्य न्यायाधीश गीता मित्तल होंगी. पीठ ने कहा कि बंबई उच्च न्यायालय की पूर्व जज  शालिनी पी. जोशी और दिल्ली उच्च न्यायालय की पूर्व जज आशा मेनन समिति की दो अन्य सदस्य होंगी.

सीमावर्ती राज्य के और अधिक अराजकता में डूबने और लोगों के मारे जाने, आगजनी और तबाही की खबरों के संज्ञान में होने का उल्लेख करते हुए पीठ ने महिलाओं को निर्वस्त्र कर घुमाने के वीडियो को बेहद परेशान करने वाला करार देते हुए कहा कि वह प्रभावित लोगों के राहत और पुनर्वास की निगरानी के लिए उच्च न्यायालय के तीन पूर्व न्यायाधीशों की एक समिति नियुक्त करेगी.

11 FIR सीबीआई को ट्रांसफर की जाएंगी

कोर्ट के मुताबिक यह तीनों जज समिति राहत, उपचारात्मक उपायों, मुआवजा, घरों और पूजास्थलों की मरम्मत के साथ-साथ अन्य चीजों की निगरानी करेगी. पीठ ने कहा कि न्यायाधीशों की समिति राहत शिविरों का दौरा करेगी और वहां स्थिति का आकलन करेगी. कोर्ट ने यह भी कहा कि 11 एफआईआर सीबीआई को ट्रांसफर की जाएंगी.

– भारत एक्सप्रेस

 



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