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Israel Palestine Conflict: Al Jazeera पर इजरायल ने लगाया बैन, Radiance Viewsweekly ने कहा— यह प्रेस की स्वतंत्रता पर हमला

Al Jazeera Ban Israel: इस्लामिक वर्ल्ड में प्रतिष्ठित न्यूज चैनल ‘अल जजीरा’ पर इजरायली सरकार ने प्रतिबंध लगा दिया है. इसके बाद प्रेस की स्वतंत्रता की बातें जोर पकड़ने लगी हैं. कई समाचार संस्थाओं ने पाबंदियों की निंदा की है.

Israel Ban on Al Jazeera

अल जजीरा को इजरायल ने प्रतिबंधित कर दिया है. रेडिएंस व्यूज़वीकली ने की निंदा.

प​​श्चिम एशिया में ​छिड़ी इजरायल-हमास की जंग के दौरान ‘अल जजीरा’ समेत अरब प्रायद्वीप के कई मीडिया ग्रुप्स ने इजरायल द्वारा गाजा में किए गए हमलों के विरोध में जमकर खबरें छापीं, इजरायल के विरुद्ध ऑनलाइन कैंपेन भी चलाए गए. इजरायल को ‘हत्यारों का देश’ कहा गया, ऐसे ही आरोप लगने पर इजरायली सरकार ने कई विदेशी मीडिया आउटलेट्स को प्रतिबंधित करने की घोषणा कर दी.

इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने इस्लामिक वर्ल्ड में प्रतिष्ठित मीडिया ग्रुप ‘अल जजीरा’ के कार्यालयों को अपने बंद करने की घोषणा की और इसके प्रसारण पर प्रतिबंध लगा दिया. ‘अल जजीरा’ पर प्रतिबंध लगने से ‘प्रेस की स्वतंत्रता’ की बात करने वाला बुद्धजीवी-वर्ग आहत है, रेडिएंस व्यूज़वीकली के प्रधान संपादक ने ‘अल जजीरा’ पर इज़रायल के प्रतिबंध की निंदा की है.

इजरायल के प्रतिबंध को इस्लामिक संस्थाओं ने नकारा

रेडिएंस व्यूज़वीकली के प्रधान संपादक एजाज अहमद असलम की ओर से एक बयान में कहा गया— “प्रेस की स्वतंत्रता लोकतंत्र के लिए अनिवार्य शर्त है, लेकिन यह एक तानाशाह के हाथों में ‘सुरक्षा खतरा’ बन जाता है. इज़रायल में अल जज़ीरा पर व्यापक प्रतिबंध से यह एक बार फिर स्पष्ट हो गया है.” उन्होंने बताया कि 1 अप्रैल को Knesset द्वारा पारित एक नए कानून के तहत, जो इज़रायल को सुरक्षा के लिए खतरा माने जाने वाले विदेशी मीडिया आउटलेट्स को अस्थायी रूप से बंद करने की अनुमति देता है, उनके प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने ‘अल जजीरा’ के कार्यालयों को बंद करने की घोषणा की और देश के भीतर ‘अल जजीरा’ के प्रसारण पर प्रतिबंध लगा दिया.

दावा— गाजा पर इजरायली हमलों में 142 पत्रकार मारे गए

‘अल जजीरा’ पर यह प्रतिबंध ऐसे समय में लगाया गया जब हेग में अंतर्राष्ट्रीय आपराधिक न्यायालय (ICC) युद्ध अपराधों और गाजा नरसंहार में मानवता के खिलाफ अपराधों में उनकी भूमिका के लिए प्रधानमंत्री नेतन्याहू और अन्य इजरायली अधिकारियों के खिलाफ गिरफ्तारी वारंट पर विचार कर रहा है. ICC की संभावित कार्रवाई दक्षिण अफ्रीका की उन मीडिया रिपोर्टों द्वारा समर्थित याचिकाओं पर आधारित है, जिनमें ‘अल जजीरा’ और अनादोलु एजेंसी सहित कई अंतरराष्ट्रीय मीडिया संगठनों द्वारा जारी की गई तस्वीरें और वीडियो फुटेज शामिल हैं. दावा किया जा रहा है कि पिछले 7 अक्टूबर से गाजा पर इजरायली हमलों में 142 पत्रकारों सहित कम से कम 34,800 फिलिस्तीनी मारे गए हैं और 78,100 घायल हुए हैं.

रेडिएंस व्यूज़वीकली के संपादक का कहना है कि अल जज़ीरा पर इजरायली प्रतिबंध लोकतंत्र, विशेष रूप से प्रेस की स्वतंत्रता और न्याय की मांग का अपमान है. उन्होंने भारत सरकार के साथ-साथ प्रेस क्लब ऑफ इंडिया से भी नेतन्याहू सरकार पर प्रेस की स्वतंत्रता का सम्मान करने और इज़रायल में मीडिया आउटलेट्स पर प्रतिबंध लगाने से परहेज करने का आह्वान किया.

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— भारत एक्सप्रेस



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