राहुल गांधी.
Stock Market News: कांग्रेस सांसद राहुल गांधी का कहना है कि एग्जिट पोल के कारण शेयर बाजार में छोटे रिटेल इन्वेस्टर्स को 30 लाख करोड़ रुपए का नुकसान हुआ. प्रधानमंत्री, गृह मंत्री और वित्त मंत्री ने निवेशकों को चुनाव के समय शेयर बाजार में पैसा लगाने के लिए उकसाया था.
स्टॉक मार्केट डाउन होने को इतिहास का सबसे बड़ा घोटाला बताते हुए राहुल गांधी ने संयुक्त संसदीय समिति (जेपीसी) द्वारा इसकी जांच करवाए जाने की मांग की है.
राहुल गांधी का कहना है कि चुनाव के समय प्रधानमंत्री ने दो-तीन बार शेयर बाजार में तेजी आने की बात कही थी. गृह मंत्री ने सीधे सीधे यह कहा था कि 4 जून को यह आसमान छुएगा, लोगों को शेयर खरीदने चाहिए. वित्त मंत्री ने भी यही बातें दोहराईं.
‘इंटेलिजेंस ने पहले ही कम सीटें आने का इनपुट दिया था’
राहुल गांधी ने आज प्रेस कॉन्फ्रेंस करके आरोप लगाया कि इंटेलिजेंस एजेंसी ने पहले ही सरकार को बता दिया था कि उनकी 200 से 220 सीटें आने का अनुमान है, बावजूद इसके रिटेल इन्वेस्टर्स को शेयर बाजार में इन्वेस्ट करने की सलाह दी गई. वहीं, गलत एग्जिट पोल के कारण पहले शेयर बाजार में जबरदस्त तेजी आई फिर अगले दिन नतीजे आने पर बड़ी गिरावट देखी गई.
‘आम लोगों ने लाखों करोड़ रुपये का नुकसान झेला’
उन्होंने कहा कि इस गिरावट के कारण 5 करोड़ से अधिक परिवार, जोकि शेयर बाजार में निवेश करते हैं, उन्होंने लाखों करोड़ रुपए का नुकसान झेला है. एग्जिट पोल और शेयर मार्केट के बीच संबंधों की जांच भी जेपीसी द्वारा की जानी चाहिए. उनका आरोप है कि छोटे भारतीय रिटेल निवेशकों की कीमत पर किसी ने यहां लाखों करोड़ रुपए बनाए हैं.
‘सरकार को पहले ही पता था 4 जून को क्या होगा’
राहुल गांधी ने कहा कि इस पूरे मामले में हम प्रधानमंत्री, गृहमंत्री, विदेशी निवेशकों और एग्जिट पोल करने वालों पर जांच चाहते हैं. सरकार के पास सूचना थी कि 4 जून को क्या होने वाला है. जब स्वयं प्रधानमंत्री, गृह मंत्री व वित्त मंत्री ऐसी बातें करते हैं तो लोग निवेश करते हैं.
‘अब विपक्ष की ताकत पहले से कहीं ज्यादा है’
राहुल गांधी बोले— “यह एक बहुत बड़ा घोटाला है, जिसमें छोटे निवेशकों के लाखों करोड़ों रुपए चले गए. अब विपक्ष की ताकत संसद के भीतर पहले से कहीं ज्यादा है. विपक्ष इस मुद्दे पर संसद के भीतर अपनी बात रखेगा और सरकार पर जेपीसी जांच के लिए दबाव बनाया जाएगा.”
— भारत एक्सप्रेस