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राम मंदिर के उद्घाटन के 26 दिन बाद अयोध्या पहुंचे सुब्रमण्यम स्वामी, किए राम लला के दर्शन, सामने आईं ये तस्वीरें

भाजपा के कद्दावर नेता सुब्रमण्यम स्वामी ने अचानक अयोध्या पहुंचकर राम मंदिर में भगवान के दर्शन किए. विश्व हिंदू परिषद (VHP) के महासचिव और मंदिर निर्माण समिति के प्रमुख पदाधिकारी चंपत राय ने उनका स्वागत किया.

Subramanian Swamy Ram Mandir news

फोटो— रामलला की प्रतिमा की प्राण प्रतिष्ठा के 26 दिन बाद अयोध्या पहुंचे सुब्रमण्यम स्वामी

Subramanian Swamy In Ayodhya: अयोध्या में भव्य राम मंदिर के उद्घाटन के 26 दिन बाद शनिवार (17 फरवरी) को भाजपा के कद्दावर नेता सुब्रमण्यम स्वामी रामलला के दर्शन करने पहुंचे. आज सुबह (रविवार को) उन्होंने राम मंदिर में भगवान की पूजा-अर्चना की. साथ ही वहां साधु-संतों से मुलाकात की. अब सोशल मीडिया पर उनकी कुछ तस्वीरें सामने आई हैं, जिनमें सुब्रमण्यम स्वामी को भगवा वस्त्रों में देखा जा सकता है.

सुब्रमण्यम स्वामी का स्वागत रामनगरी में विश्व हिंदू परिषद (VHP) के महासचिव और मंदिर निर्माण समिति के प्रमुख पदाधिकारी चंपत राय ने किया. वहीं, राम मंदिर में भगवान राम की पूजा-अर्चना करने के बाद सुब्रमण्यम स्वामी ने कहा, “आज अयोध्या में और रामलला की मूर्ति को करीब से देखने का मेरा अनुभव बहुत अच्छा रहा. मैं धन्य हूं. विहिप महासचिव चंपत राय के कुशल निर्देशन में चार मंजिला राम मंदिर निर्माण में हुई प्रगति से मैं आश्चर्यचकित हूं.”

Subramanian Swamy in Ayodhya

राम मंदिर में दर्शन करने के उपरांत सुब्रमण्यम स्वामी ने खुद अपने ऑफिशियल X हैंडल पर कुछ तस्वीरें और वीडियो शेयर किए. उनकी तस्वीरों पर ट्विटर यूजर्स दिलचस्प प्रतिक्रियाएं दे रहे हैं. एक यूजर ‘राणा जी’ ने लिखा— ‘एक बार पीएम नरेंद्र मोदी को भी थैंक यू बोल दीजिए. अगर वह नहीं होते‌ तो यह (मंदिर निर्माण) संभव नहीं होता.’

सुब्रमण्यम स्वामी ने अयोध्या में रामलला के दर्शन की ये तस्वीरें और वीडियो अपने आधिकारिक X हैंडल से शेयर की हैं.

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Subramanian Swamy

राम मंदिर निर्माण के पैरोकार रहे हैं स्वामी

बता दें कि सुब्रमण्यम स्वामी राज्यसभा में सांसद रह चुके हैं और उनको दक्षिण भारत में भाजपा का एक तेजतर्रार नेता माना जाता है. उनकी खास बात यह भी है कि वह अयोध्या में पहले से ही राम मंदिर निर्माण के पैरोकार रहे हैं. 2019 में सुप्रीम कोर्ट का फैसला आने से पहले उन्होंने कई बार कहा था कि नमाज कहीं भी पढ़ी जा सकती है, लेकिन अयोध्या का श्रीराम जन्मस्थान हमारी आस्था से जुड़ा हुआ है. स्वामी ने अयोध्या पर आए फैसले पर कहा था कि यहां श्रीराम जन्मस्थान का होने की वजह से सुप्रीम कोर्ट ने मंदिर निर्माण की अनुमति दी थी.

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