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Anantnag Encounter: “मेरे बेटे ने देश के लिए शहादत दी, मैं आज रोऊंगी नहीं…”, एनकाउंटर में शहीद हुए मेजर आशीष की मां

martyr Major Ashish: आशीष धौंचक मूल रूप से पानीपत जिले के बिंझौल गांव के रहने वाले थे. उन्होंने पानीपत के सेक्टर 7 में नया घर बनवाया था. उसका ही उन्हें गृहप्रवेश करना था. शहादत के बाद उनके घर पर मातम पसरा हुआ है.

शहीद मेजर आशीष

Kashmir Encounter: जम्मू और कश्मीर के अनंतनाग में आंतकी मुठभेड़ में देश के तीन बहादुर अधिकारी शहीद हो गए. इस घटना के बाद से पूरे देश में गुस्सा है. बुधवार को आतंकवादियों के साथ हुई मुठभेड़ में सेना के कर्नल, मेजर और जम्मू और कश्मीर के डीएसपी शहीद हो गए. मेजर आशीष हरियाणा के पनीपत के रहने वाले थे और वे भी आतंकियों से लोहा से लेते हुए शहीद हो गए. बताया जा रहा है कि मेजर आशीष धौंचक की कुछ दिन पहले ही अपने घरवालों से बात हुई थी और वे जन्मदिन के दिन घर जाना चाहते थे क्योंकि अगले महीने उनको अपने घर का गृहप्रवेश भी करना था.

आशीष धौंचक मूल रूप से पानीपत जिले के बिंझौल गांव के रहने वाले थे. उन्होंने पानीपत के सेक्टर 7 में नया घर बनवाया था. उसका ही उन्हें गृहप्रवेश करना था. शहादत के बाद उनके घर पर मातम पसरा हुआ है. मेजर का अगले महीने 23 अक्टूबर को जन्मदिन भी था.

तीन बहनों के इकलौते भाई

हरियाणा के लाल के घर की बात की जाए तो उनके वो अपनी तीन बहनों के इकलौते भाई थे. इसके अलावा उनकी 2 साल की बेटी है. मेजर को इसी साल 15 अगस्त को वीरता के लिए सेना पदक से सम्मानित किया गया था. उनकी पोस्टिंग 2 साल पहले मेरठ से जम्मू कश्मीर में हुई थी. आशीष के शहादत पर उनके चाचा ने एक निजी चैनल से बात करते हुए बताया कि, “जम्मू में पोस्टिंग होने के बाद भी मेजर आशीष को किसी तरह का डर नहीं था. उन्होंने कहा कि भतीजे की शहादत के बाद भी जवानों के हौसले में कमी नहीं आएगी. वो अक्सर जम्मू कश्मीर के हालातों के बारे में बताया करता था. मेजर के शहीद होने की खबर सुनने के बाद उनके पिता अभी सदमें में हैं.

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‘मैं आज रोऊंगी नहीं’

वहीं एक चैनल के मुताबिक, आशीष की मां का कहना है कि, “मेरा बेटा अपने देश के लिए शहीद हुआ है. मेरा बेटा, मेरे देश का बेटा था. सारे देश का चहेता था. सबका प्यारा था मेरा बेटा. देश पर कुर्बान हो गया. मैं आज रोऊंगी नहीं.”

– भारत एक्सप्रेस

 

 

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